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CBSE Important Questions for Class 12 Hindi Antra Ramchandrachandrika - 2025-26

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Ramchandrachandrika Class 12 important questions with answers PDF download

Free PDF download of Important Questions with solutions for CBSE Class 12 Hindi Antra Chapter 10 - Ramchandrachandrika prepared by expert Hindi teachers from latest edition of CBSE(NCERT) books.

Study important questions for Class 12 Hindi (Antra) Chapter 10 - रामचन्द्रचंद्रिका

अति लघु उत्तरीय प्रश्न                                                                            (1अंक)

1. पंचवटी की तुलना किससे की गई हैं?

उत्तर: दूसरे छंद में पंचवटी की तुलना शिव जी की जटाओं से की गई हैं। 


2. कवि के अनुसार पंचवटी इतना पवित्र क्यो है?

उत्तर: कवि कहते है कि पंचवटी में बड़े-बड़े ऋषि-मुनि रहते हैं जिनके ज्ञान ज्ञान से लोगो की आत्मा शुद्ध हो जाती हैं।


3. निम्न शब्दों के शब्दार्थ लिखिए।

अघओघ, शिवराज, दसकंठ

उत्तर: अघओघ- पापो से घिरा हुआ 

शिवराज- महान ऋषि 

दसकंठ-  दस सिर हो जिसका अर्थ है रावण 


4. अंगद रावण को क्या आभास कराने की कोशिश कर रहा है?

उत्तर: अंगद रावण को क्षीराम की शक्ति का आभास कराने की कोशिश कर रहे हैं। 


5. बानी जगरानी की ............................की भई। रिक्त स्थान को पूरा कीजिए। 

उत्तर: बानी जगरानी की उदारता बखानी जाड़ ऐसी मति उदित उदार कोन की भई।


लघु उत्तरीय प्रश्न                                                                                                         (2 अंक)

1. कवि प्रथम छंद के माध्यम से क्या व्यक्त करना चाहते हैं?

उत्तर: प्रथम छंद में कवि ने सरस्वती की आराधना करते हुए उन्हें बहुत ही उदार बताया है। कवि कहते है कि उनकी उदारता का वर्णन शब्दों में नही किया जा सकता है।


2. कवि दूसरे छंद के माध्यम से क्या व्यक्त करना चाहते हैं?

उत्तर: दूसरा छंद “रामचंद्रिका के पंचवटी” प्रसंग से लिया गया है। इस छंद में कवि लक्ष्मण और उर्मिला के बारे में बता रहे है। लक्ष्मण, उर्मिला को पंचवटी का महत्व समझा रहे हैं।


3. कवि तीसरे छंद के माध्यम से क्या व्यक्त करना चाहते हैं?

उत्तर: तीसरा छंद “ रामचंद्रिका के पंचवटी” प्रसंग से लिया गया है। इस छंद में कवि अंगद और रावण के बारे मे बता रहे हैं। अंगद रावण को राम की महिमा के बारे मैं बता रहे हैं।


4. प्रथम छंद का “विषश” लिखो।

उत्तर: यह छंद ब्रज भाषा में लिखा गया है। इस छंद में शांत रस है। इस छंद में अनुप्रास एवम अतिश्योक्ति अलंकार का सुंदर प्रयोग किया गया है।


5. तीसरे छंद में विशेष क्या है।

उत्तर: तीसरे छंद में ब्रज भाषा का प्रयोग किया गया है।इसमें अनुप्रास अलंकार का प्रयोग भी किया गया है। इस छंद में शब्दों का प्रयोग बहुत ही सुंदर तरीके से किया गया है।


लघु उत्तरीय प्रश्न                                                                                            (3 अंक)

1. बानी जगरानी की उदारता बखानी जाड़ ऐसी मति उदित उदार कोन की भई।

उत्तर: प्रस्ततु पंक्ति मे कवि कहते हैं की माँ सरस्वती की महिमा को कोई नहीं समझ सकता। वह कहते हैं कि किसी के पास भी इतनी बुद्धि नहीं है की वह माँ सरस्वती की महिमा को समझ सकें।


2. देवता प्रसिद्ध सिंह शिवराज तपवृद कहि कहि हारे सब कहि न काहू लई। इस पंक्ति का भाव स्पष्ट कीजिए।

उत्तर: प्रस्तुत पंक्ति में कवि कहते है कि देवता , प्रसिद्ध लोग, महान ऋषि -  मुनि , बड़े- बड़े तपस्वी भी मां सरस्वती की उदारता का वर्णन करत- करते थक गए, परंतु कोई भी उनकी उदारता का वर्णन नही कर पाया।


3. किसे चरमुख, पंचमुख और शतमुख कहा जाता है और उनका देवी सरस्वती से क्या संबंध है?

उत्तर: कवि ने ब्रह्मा को चारमुख, शिव को पंचमुख और कार्तिकेय को शतमुख कहा है। ब्रम्हा को सर्वस्वती का स्वामी कहा जाता है शिव को उनका पुत्र और शिव के पुत्र कार्तिकेय को उनका पौत्र कहा जाता है।


4. निघटी रुचि मीचू घटी हूं घटी जगजीव जतीन की छुट्टी तटी। इस पंक्ति का भाव स्पष्ट कीजिए।

उतर: प्रस्तुत पंक्ति में लक्ष्मण जी पंचवटी के वातावरण की प्रशंशा करते हुए उर्मिला से कहते हैं कि यहां पहुंच कर मनुष्य के मन से मृत्यु का डर समाप्त हो जाता है और यहां के सौंदर्य से खुश होकर हर एक व्यक्ति को अपना जीवन आकर्षक लगता है और कोई मरना नही चाहता है।


5. सिंधु तर्यो उनको बनरा तुम पै धनुरेख गई न तरी। इस पंक्ति का भाव स्पष्ट कीजिए।

उतर: प्रस्तुत पंक्ति में अंगद रावण से कहते है कि श्री राम के दूत हनुमान समुंद्र को पार करके लंका तक पहुंच गए हैं। अंगद रावण को श्री राम की शक्ति का आभास कराना चाहते है और कहते है कि तुम लक्षण द्वारा खींची गई लक्षण रेखा को भी पार नहीं कर पाए थे।


दीर्घ उत्तरीय प्रश्न।                                                                                                      (5 अंक)

1. देवी सरस्वती की उदारता की प्रशंशा क्यो नही की जा सकती?

उतर: ज्ञान , स्वर और कला की देवी “सरस्वती देवी” को कहा जाता है। यह हर एक मनुष्य के कंठ मैं विराजमान होती है। ऐसा माना जाता है कि इस संसार को ज्ञान का भंडार देवी सरस्वती के  कारण ही उपलब्ध हुआ। उनकी महानता को शब्दों में वर्णित नही किया जा सकता। सदियों से कई विद्वान सरस्वती की महिमा को व्यक्त करना चाहते हैं लेकिन वे इसमें पूरी तरह से सफल नहीं हुए हैं। इसलिए उनकी उदारता का वर्णन नही किया जा सकता है।


2. पंचवटी के किन गुणों का उल्लेख कविता में है?

उतर: कविता मैं पंचवटी के निम्नलिख गुणों का उल्लेख किया गया है-

1.पंचवटी एक बहूत ही पवित्र स्थान है। यहाँ आकर लोगों के मन को शांति मिलती है।

2.यहाँ आकर लोगों के सारे दुख ख़त्म हो जाते हैं।

3.अब यहाँ आकर लोगों के भीतर के पाप मिट जाते हैं और सभी लोग शांत मन से यहाँ से वापस जाते हैं।


3. सब जाति कपटी दुख की दुपटी कपटी न रहै जॅह एक घटी। इस पंक्ति का भाव स्पष्ट कीजिए।

उतर: प्रस्तुत पंक्ति में लक्षण जी पंचवटी के वातावरण की प्रशंशा करते हुए उर्मिला से कहते है कि वहा का वातावरण इतना सुंदर है कि वहा पहुंचते ही लोगो का दुख दूर हो जाता है। वो कहते है कि अगर किसी व्यक्ति के मन मैं कोई बुरी भावना और छल कपट हो तो वो भी खत्म हो जाता है अर्थात  इस पंचवटी की शोभा के कारण लोगों मैं अच्छी नियत जागृत हो जाती है।


4. तेलन तूलनि पूछी न जरी , लंका जराई जरी। इन पंक्तिका काव्य सौंदर्य स्पष्ट कीजिए।

उत्तर: प्रस्तुत पंक्ति मे मंदोदरी ने हनुमान की शक्ति का वर्णन किया है। इस पंक्ति की भाषा ब्रज्र भाषा है ,”त” और,”ह” जैसे शब्दों का सुंदर उपयोग अनुप्रास अलंकार को दर्शता है। “जारी” शब्द का प्रयोग दो बार हुआ है। इनका दोनो समय अलग अलग अर्थ है। इसलिए यह यामक अलंकार को दर्शता है।

 

5. पति बने चारमुख पूत बने पंचमुख नाती बने षटमुख तदपि नई-नई । इस पंक्ति का काव्य सौंदर्य स्पष्ट कीजिए।

उत्तर: उपरोक्त पंक्ति में सरस्वती जी की महिमा को वर्णित किया गया है। इस पंक्ति में ब्रज भाषा का प्रयोग किया गया है। पंचमुख जैसे तत्सम शब्दों का प्रयोग किया गया है।


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FAQs on CBSE Important Questions for Class 12 Hindi Antra Ramchandrachandrika - 2025-26

1. सीबीएसई कक्षा 12 हिंदी की परीक्षा के लिए 'रामचंद्रचंद्रिका' कविता के मूल भाव से जुड़े कौन-से प्रश्न महत्वपूर्ण हैं?

CBSE Class 12 Hindi (Antra) के लिए 'रामचंद्रचंद्रिका' अध्याय से कई महत्वपूर्ण प्रश्न बनते हैं जो इसके मूल भाव पर केंद्रित होते हैं। परीक्षा के लिए इन प्रश्नों पर ध्यान दें:

  • केशवदास की काव्य कला: यह प्रश्न पूछा जा सकता है कि केशवदास ने रामकथा का वर्णन भक्ति भाव से अधिक अपनी काव्य-कला के प्रदर्शन के लिए किया है। उदाहरण सहित स्पष्ट करें।
  • प्रसंग आधारित प्रश्न: 'सरस्वती वंदना', 'पंचवटी वर्णन' और 'अंगद-रावण संवाद' जैसे प्रसंगों का मूल भाव और काव्य सौंदर्य लिखने के लिए कहा जा सकता है।
  • चरित्र-चित्रण: रावण के दरबार में अंगद के आत्मविश्वास और वाक्पटुता पर आधारित प्रश्न अक्सर पूछे जाते हैं।

2. 'पंचवटी वर्णन' में केशवदास ने प्रकृति का चित्रण किस प्रकार किया है? इस पर आधारित 3-अंकीय प्रश्न की तैयारी कैसे करें?

कवि केशवदास ने 'पंचवटी वर्णन' में प्रकृति का एक पवित्र और मंगलकारी रूप प्रस्तुत किया है। 3-अंकीय प्रश्न के लिए, इन बिंदुओं पर ध्यान केंद्रित करें:

  • पवित्रता का चित्रण: बताएं कि कैसे पंचवटी को सभी पापों का नाश करने वाली और पवित्रता प्रदान करने वाली भूमि के रूप में दिखाया गया है।
  • अलंकारों का प्रयोग: उत्तर में उपमा और रूपक जैसे अलंकारों का उल्लेख करें, जिनके माध्यम से प्रकृति की सुंदरता का वर्णन किया गया है।
  • प्रतीकात्मक महत्व: यह भी बताएं कि पंचवटी का शांत और निर्मल वातावरण, वहाँ रहने वाले साधुओं और तपस्वियों के चरित्र को दर्शाता है। एक अच्छा उत्तर लिखने के लिए पाठ से उदाहरण अवश्य दें।

3. 'रामचंद्रचंद्रिका' में प्रयुक्त अलंकारों और छंदों की जटिलता पर आधारित उच्च-स्तरीय (HOTS) प्रश्न किस प्रकार के हो सकते हैं?

केशवदास की कठिन काव्य-शैली के कारण, इस अध्याय से HOTS (Higher Order Thinking Skills) प्रश्न बनने की प्रबल संभावना है। ये प्रश्न आपकी विश्लेषणात्मक क्षमता का परीक्षण करते हैं, जैसे:

  • 'रामचंद्रचंद्रिका' को 'कठिन काव्य का प्रेत' क्यों कहा जाता है? कविता के अंशों का उदाहरण देकर इसके भाषा-सौंदर्य और जटिलता को स्पष्ट करें।
  • केशवदास की संवाद-योजना की तुलना तुलसीदास की संवाद-योजना से करने के लिए कहा जा सकता है।
  • कविता में प्रयुक्त किसी विशिष्ट छंद या अलंकार (जैसे श्लेष, विरोधाभास) के प्रभाव का विश्लेषण करने के लिए भी कहा जा सकता है।
इन प्रश्नों की तैयारी के लिए आपको केवल अर्थ ही नहीं, बल्कि काव्य-शिल्प की गहरी समझ भी होनी चाहिए।

4. बोर्ड परीक्षा में 'अंगद' प्रसंग से अक्सर कौन-से महत्वपूर्ण प्रश्न पूछे जाते हैं?

'अंगद' प्रसंग 'रामचंद्रचंद्रिका' का एक अत्यंत महत्वपूर्ण हिस्सा है, जिससे अक्सर बोर्ड परीक्षा में प्रश्न आते हैं। मुख्य रूप से इन क्षेत्रों पर ध्यान केंद्रित किया जाता है:

  • अंगद का चरित्र-चित्रण: अंगद की निर्भीकता, बुद्धिमत्ता, और वाक्पटुता (बातचीत की कला) पर प्रश्न पूछा जाता है।
  • अंगद-रावण संवाद: इस संवाद के माध्यम से अंगद ने कैसे रावण के अहंकार को तोड़ा और उसे श्रीराम की शक्ति का एहसास कराया, इसका विश्लेषण करने को कहा जा सकता है।
  • 'पग रोपण' प्रसंग: अंगद द्वारा रावण की सभा में अपना पैर जमाने की घटना के महत्व और उसके प्रतीकात्मक अर्थ पर प्रश्न बन सकता है।

5. कवि केशवदास की काव्य-शैली 'रामचंद्रचंद्रिका' के महत्वपूर्ण प्रश्नों को कैसे प्रभावित करती है?

कवि केशवदास की विशिष्ट काव्य-शैली सीधे तौर पर परीक्षा में पूछे जाने वाले प्रश्नों की प्रकृति को निर्धारित करती है। उनकी शैली की मुख्य विशेषताएं और उनसे बनने वाले प्रश्न इस प्रकार हैं:

  • अलंकार-प्रियता: केशवदास अलंकारों के प्रयोग में निपुण थे, इसलिए 'काव्य-सौंदर्य स्पष्ट करें' जैसे प्रश्न बहुत आम हैं, जिनमें आपको छंद, रस और अलंकारों की पहचान करनी होती है।
  • संवाद-योजना: उनके काव्य में नाटकीय और चुस्त संवाद-योजना है। इसलिए, संवादों के महत्व और चरित्र को उभारने में उनकी भूमिका पर प्रश्न बनते हैं।
  • पांडित्य-प्रदर्शन: उनकी भाषा में पांडित्य और क्लिष्टता है, जिससे 'भाव स्पष्ट करें' या 'कठिन शब्दों का अर्थ बताएं' जैसे प्रश्न भी महत्वपूर्ण हो जाते हैं।

6. कक्षा 12 की बोर्ड परीक्षा 2025-26 के लिए 'रामचंद्रचंद्रिका' अध्याय से दीर्घ-उत्तरीय प्रश्नों का उत्तर लिखते समय किन बातों का ध्यान रखना चाहिए?

'रामचंद्रचंद्रिका' जैसे काव्यात्मक अध्याय से दीर्घ-उत्तरीय प्रश्नों में अच्छे अंक प्राप्त करने के लिए, निम्नलिखित बातों का ध्यान रखें:

  • संदर्भ और प्रसंग: उत्तर की शुरुआत कवि (केशवदास) और कविता ('रामचंद्रचंद्रिका') का संक्षिप्त परिचय देते हुए करें।
  • मुख्य बिंदुओं में उत्तर दें: अपने उत्तर को पैराग्राफ या बिंदुओं में विभाजित करें ताकि वह व्यवस्थित और पढ़ने में आसान लगे।
  • काव्य-पंक्तियों का उद्धरण: अपने तर्कों को प्रमाणित करने के लिए कविता से संबंधित पंक्तियों का उद्धरण (quotes) अवश्य दें।
  • काव्य-सौंदर्य का विश्लेषण: उत्तर के अंत में 'विशेष' या 'काव्य-सौंदर्य' लिखकर भाषा, शैली, रस, छंद, और अलंकारों पर टिप्पणी अवश्य करें। यह आपके उत्तर को दूसरों से बेहतर बनाता है।