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NCERT Solutions for Class 7 Hindi (Mahabharat) Chapter 1: Mahabharat Katha

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NCERT Solutions for Class 7 Chapter 1 Hindi (Mahabharat) - FREE PDF Download

Vedantu provides NCERT Solutions for Class 7 Hindi (Mahabharat) Chapter 1 'Mahabharat Katha' to help students understand the important events and characters in the story. The solutions are presented only, making it easier for students to follow the storyline and learn key concepts. These solutions are helpful for exam preparation and understanding the core themes of the Mahabharat. Students can use them to clear doubts and ensure they are well-prepared.


Additionally, the solutions are aligned with the CBSE Class 7 Hindi Syllabus, ensuring students cover all the required topics effectively. With these solutions, students can confidently practise for their exams and improve their knowledge of the chapter. Download the FREE PDF of these NCERT Solutions for more detailed learning.


Glance on Class 7 Hindi (Mahabharat)  Chapter 1 - Mahabharat Katha 

  • CBSE Class 7 Hindi Chapter 1 Mahabharat Katha introduces the grand epic and sets the stage for the conflict between the Pandavas and Kauravas, which is central to the Mahabharat.

  • The chapter highlights the birth and early life of key characters like the Pandavas and Kauravas, providing background on their family relations and rivalries.

  • Students will learn about the key events that led to the eventual battle of Kurukshetra, laying the foundation for the important lessons of dharma and justice.

  • The story also introduces the wisdom of elders like Bhishma and Drona, whose actions influence the course of events in the epic.

  • Understanding the main themes of loyalty, righteousness, and the consequences of one’s actions are key takeaways from this chapter, according to the syllabus.

Access NCERT Solutions for Class 7 Hindi पाठ १ - बाल महाभारत कथा

There are no NCERT questions provided for Chapter 1 'Mahabharat Katha,' but we have included some practice questions with answers to help you understand the great epic story better. These questions are designed to strengthen your understanding of the chapter and will also assist you in preparing for your exams effectively. Use these to enhance your learning and gain a deeper understanding of the key events and characters.


Practise Questions Along with Answers

1. गंगा ने शांतनु से कहा, “राजन! क्या आप अपना वचन भूल गए?” तमहरे विचार से शांतनु ने गंगा को क्या वचन दिया होगा? 

उत्तर:  हमारे अनुसार गंगा ने शांतनु से यह वचन लिया होगा कि शांतनु से यह वचन लिया होगा कि शांतनु उनको कोई भी कार्य करने से नही रोकेंगे और ना ही गंगा के किसी काम मे विघ्न डालने का प्रयास करेंगे। शांतनु ने गंगा से कोई सवाल ना करने का भी वचन दिया होगा।


2. महाभारत के समय राजा के बड़े पुत्र को अगला राजा बनाने की परंपरा थी। इस परंपरा को ध्यान में रखते हुए बताओ कि तुम्हरे अनुसार किसे राजा बनाया जाना चाहिए था - युधिष्ठिर या दुर्योधन को ? अपने उत्तर का कारण भी बताओ।

उत्तर: शान्तनु के बड़े पुत्र होने के कारण हस्तिनापुर के परम्परा के अनुसार सिंहासन पर प्रथम अधिकार धृतराष्ट्र का होता यदि वो अंधे नहीं होते। अंधे होने के कारण वो राज्य का संचालन नही कर सकते थे। इसी कारण उनके छोटे भाई पांडु को हस्तिनापुर की गद्दी सौपी गई। किसी कारणवश पांडु को उनकी दोनों पत्नियों समेत वन में जाना पड़ा। हस्तिनापुर की गद्दी रिक्त ना रह जाए इसीलिए धृतराष्ट्र को अंतरिम राजा बना दिया गया। इसी दौरान पांडु की मृत्यु हो गई और धृतराष्ट्र के राज्यकाल को बढ़ा दिया गया। पांडु के सबसे बड़े पुत्र युधिष्ठिर थे जो दुर्योधन से भी बड़े थे और धृतराष्ट्र को तो पांडु की जगह हस्तिनापुर का कार्यभार सौंपा गया था वो वास्तविक राजा नही थे।पांडु के मृत्य के यह गुत्थी और भी उलझ गई थी कि किसे हस्तनिपुर की गद्दी मिलनी चाहिए। अतः मेरे दृष्टिकोण से हस्तिनापुर का असल उत्तराधिकारी किसे होना चाहिए इसका पता लगाना असम्भव प्रतीत होता है।


3. महाभारत के युद्ध को जीतने के लिए कौरवों और पांडवों ने अनेक प्रयास

किये। तुम्हे दोनों के प्रयासों में जो उपयुक्त लगे हों, उनके कुछ उदाहरण भी दो।

उत्तर:  युद्ध मे विजय सुनिश्चित करने के लिए पांडवों और कौरवों ने अनेकों युक्ति अपनाई। जिनमे कुछ अनैतिक थे और कुछ नैतिक। 

पांडवों द्वारा बनाई युक्ति निम्न है:

  1. अपनी जीत को सुनिश्चित करने हेतु पांडवो ने वासुदेव कृष्णा से महाभारत के युद्ध मे सहायता मांगी थी।

  2. वासुदेव कृष्णा के कुशल रणनीति से गुरु द्रोण का वध करना।

  3. भीष्म पितामह का ध्रुपद नरेश के पुत्र शिखण्डनी द्वारा वध करवाना।

  4. कौरवों द्वारा बनाये चक्रव्यूह को अभिमन्यु द्वारा तोडना।


कौरवों द्वारा बनाई गई युक्ति निम्न है:

  1. वचन का स्मरण करवाते हुए कौरवों ने गुरु द्रोण और भीष्म पितामह को अपने पक्ष में कर लिए था।

  2. युद्ध मे चक्रव्यूह की रचना कर अभिमन्यु की हत्या करना आदि।


4. तुम्हरे अनुसार महाभारत का युद्ध कौन रुकवा सकता था ? कैसे ?

उत्तर: द्रौपदी के वस्त्रहरण के समय किसी ने भी दुर्योधन द्वारा किये जा रहे अधर्म हो रोका नही और मौन हो के सब देखते रहे। यदि भीष्म पितामह, गुरु द्रोण, हस्तिनापुर नरेश धृतराष्ट्र ने हो रहे अधर्म पर विराम लगा दिया होता तो महाभारत का युद्ध रुक सकता था।


5. इस पुस्तक में से कोई पांच मुहावरा चुन कर उनका वाक्यों में प्रयोग करो ?

उत्तर:  डींगे हाँकना -  स्वाति अपने दोस्तों से बहुत डींगे हॉकती है।

जन्म से बैरी -  साँप और नेवला जन्म से बैरी होते है, आमना - सामना होते ही वो एक दूसरे को पर टूट पड़ते है।

खलबली मचाना - ओलम्पिक में भारत को गोल्ड मेडल मिलते ही पूरे भारत मे खलबली मच गई।

काम तमाम करना - शेर ने हिरण का काम तमाम कर दिया।


6. महाभारत में एक ही व्यक्ति के एक से अधिक नाम दिए गए है। बताओ, नीचे दिए गए नाम किसके है?

उत्तर:  पृथा - कुंती का दूसरा नाम पृथा था।

राधेय - कर्ण को संसार राधेय के नाम से भी जानता था।

वासुदेव  - श्री कृष्णा को वासुदेव के नाम से भी जाने जाते थे।

गंगे -  गंगा पुत्र होने के कारण पितामह को गंगे नाम से भी जाना जाता था।

कंक - युधिष्ठिर को कंक नाम से भी जाना गया था।

सैरेन्द्री - असल पहचान छिपाकर द्रौपदी एक राज्य के रानी की सैरेन्द्री बन गई थी। इसीलिए उन्हें सैरेन्द्री भी कहा गया था।


7. इस पुस्तक में भारतवर्ष की वंशावली दी गई है। तुम भी तुम भी अपने परिवार की एक ऐसी ही वंशावली तैयार करो। इस कार्य के लिए तुम अपने माता - पिता या अन्य बड़ो की सहयता ले सकते हो।

उत्तर: हमारे वंश का सम्बंध महाभारत के पात्र यानी अर्जुन पुत्र अभिमन्यु से है। अभिमन्यु पुत्र राजा परीक्षित हमारे पूर्वज है। जिन्हें उत्तरा के गर्भ में अश्वथामा ने मृत्यु देनी की कोशिश की थी, परंतु श्री कृष्णा ने उन्हें गर्भ में पुर्नजीवित कर दिया था। इसी कारण उन्हें राजा परीक्षित के नाम से जाना गया और उनके कुल के वंशज आज भी भारत के कई जिलों में है। बिहार राज्य में इस वंश से संबंधित लोगो को पालीवाल राजपूत के नाम से जाना जाता है।


8. तुम्हरे अनुसार महाभारत कथा में किस पात्र के साथ सबसे ज्यादा अन्याय हुआ है और क्यो ? 

उत्तर:  द्रुपद कन्या द्रौपदी जिनका जन्म आर्यव्रत के कल्याण के लिए हुआ था, सबसे ज्यादा अन्याय उनके साथ हुआ था। स्वंयम्बर में उन्हें अर्जुन ने जीता था तो नियमानुसार उनका विवाह अर्जुन से होना था। बिना जाने कुंती ने उन्हें पांचो भाईयो में बांट दिया। वो कोई वस्तु नही थी एक स्त्री थी। परिस्थितियों को समझते हुए उन्हें पांडवों से विवाह करना पड़ा। उनके पति ने वस्तु की तरह उनको दांव पर लगाया बिना उनकी अनुमति के और हर गए। जहां पूरी सभा मे उनके पतियों के सामने, पितामह तथा द्रोण के सामने उनका चीरहरण करने का प्रयास किया गया।  कुलवधु के साथ हो रहे अन्याय को किसी ने नही रोका। आखिरकार  कृष्णा ने उनकी सहायता की थी। द्रौपदी के पांचों पुत्रो की युद्ध बाद सोते समय अश्वथामा द्वारा हत्या कर दी गई थी। मेरे दृष्टिकोण से महाभारत कथा में द्रौपदी के साथ सबसे ज्यादा अन्याय हुआ था।


9. महाभारत के युद्ध में किसकी जीत हुई ?

उत्तर:  महाभारत के युद्ध के अंत मे पांडवों के जीत हुई तथा कौरव पराजीत हुए। परन्तु धर्म की स्थापना के लिए किया गया इस युद्ध मे अनेको सैनिकों का वध हुआ। पांडवो ने अपने भाइयों का वध किया तथा पितामह और द्रोण की मृत्यु का भार लिया। यहां तक कि पांडवो के पुत्रो का भी वध हुआ। धर्म की स्थापना हेतु किया गया युद्ध ने पांडवो को जीत तो दिलाई परन्तु अनेको बलिदान भी लिए।


10. तुम्हरे विचार में महाभारत की कथा में सबसे अधिक वीर कौन था/ थी ? अपने उत्तर का कारण भी बताओ।

उत्तर:  मेरे दृष्टिकोण से पांडव सबसे अधिक वीर थे, क्योकि कौरवों के पास भीष्म पितामह जैसे योद्धा जिनको इच्छा मृत्यु का वरदान प्राप्त था। गुरु द्रोण जैसे योद्धा कौरवों के पक्ष में थे तथा सूर्यपुत्र कर्ण जैसे धनुर्धारी जिनको भगवान सूर्य से कवच-कुंडल प्राप्त थे जिनमें अनेकों अस्त्र-शस्त्र समा जाते थे। अश्वथामा जिन्हें अमर होने का वरदान प्राप्त था जिनका वध पांडवों के लिए अंसभव था। इतने सारे योद्धा होने के बाद भी श्री कृष्णा से उनकी नारायणी सेना मांग ली थी, जो विश्व की सबसे शक्तिशाली सेना थी। यह सब के बाद भी पांडवों ने धर्म स्थापना के लिए जो युद्ध लड़ा और उसमें वे विजयी हुए।


11. यदि तुम युधिष्ठिर के स्थान पर होते, तो  यक्ष के प्रश्नों का उत्तर क्या देते  देती।

उत्तर: धर्मराज युधिष्ठिर किसी भी परिस्थिति में स्थिर रहने वाले थे। उन्होंने यक्ष के प्रश्नों को बड़े ही धैर्यपूर्वक सुना। “यक्ष ने उनसे प्रश्न किया बताओ ईश्वर क्या है ? क्या वो स्त्री है या पुरूष, आखिरकार कौन है वो ?” धर्मराज युधिष्ठिर ने इस प्रश्न का उत्तर देते हुए कहा, वो न स्त्री है ना पुरूष है वो परमब्रह्म है। इस ब्रह्मांड में कोई भी चीज आकरण नही है, तुम हो इसलिए वो भी है इस महान कारण हो आध्यात्म कहते है। इस संसार का होना ही सबूत है कि ईश्वर है। जैसे हम हवा को देख नही सकते परन्तु उन भावनाओं को महसूस कर सकते है। ठीक उसी प्रकार ईश्वर को हम अपनी भावनाओं में महसूस कर सकते है।

12. महभारत के कुछ पात्रों द्वारा द्वारा कही गयी बातें नीचे दी गयी हैं। इन बातों को पढ़कर उन पात्रों के बारे में तुम्हारें मन में क्या विचार आते हैं: 

12.1 शांतनु ने केवटराज से कहा: “जो माँगोगें दूँगा, यदि वह मेरे लिए अनुचित ना हों।”

उत्तर: यह पँक्ति राजा शांतनु का सत्यवती के प्रति प्रेम प्रकट करते हैं। परंतु शांतनु सत्यवती को खुश करने के लिए कोई गलत काम नहीं करना चाहते थे। इससे उनके राजा धर्म के प्रति निष्ठा का पता चलता है।


12.2 दुर्योधन ने कहा: “अगर बराबरी की बात है, तो मैं आज ही कर्ण को अंगदेशक राजा बनाता हूँ।

उत्तर: इस वाक्य से दुर्योधन का कर्ण के प्रति प्रेम तथा सहानुभूति दिखती है।


12.3 धृतराष्ट्र ने दुर्योधन से कहा: “बेटा, मैं तुम्हारी भलाई के लिए कहता हूँ कि पांडवों से बैर न करो। और दुख और मृत्यु का कारण होता है।”

उत्तर: इस कथन से माध्यम से धृतराष्ट्र का अपने पुत्रों के प्रति प्यार दिखाया गया है। वह अपने पुत्रों को गलत करने से रोकने का प्रयास कर रहे हैं।


12.4 द्रौपदी ने सारथी प्रातिकामी से कहा: “रतवा! जाकर उन हारनेवाले जुए के खिलाड़ी से पूछो कि पहले वह अपने को हारे थे या मुझे?”

उत्तर: इस पंक्ति में द्रौपदी का पांडवों के प्रति क्रोध दिख रहा है।

13. युधिष्ठिर ने आचार्य द्रोण से कहा: “अश्वथामा मारा गया, मनुष्य नहीं, हाथी” युधिष्ठिर सच बोलने के लिए प्रसिद्ध थे। तुम्हारे विचार से उन्होंने द्रोण से सच कहा था या झूठ? अपने उत्तर का कारण भी बताओं। 

उत्तर: युधिष्ठिर ने द्रोण से सच कहा था क्योंकि उन्होंने कहा था कि अश्वथामा हाथी मारा गया ना कि अश्वथामा मनुष्य, परन्तु द्रोण ने उनकी पूरी बात नहीं सुनी।


14. महाभारत के युद्ध मे दोनों पक्षों को बहुत हानि पहुँची। इस युद्ध को ध्यान में रखते हुए युद्धों के कारणों और परिणामों के बारे में कुछ पँक्तियों लिखे। शुरुआत हम कर देते हैं: 

युद्ध मे दोनों पक्षों के असंख्य सैनिक मारे जाते हैं। 

उत्तर: 

  1. युद्ध से दोनों क्षेत्रों के लोगों में भय हो जाता है। 

  2. वातावरण में अशांति हो जाती है। 

  3. सभी जगह रक्त की नदियाँ बहने लगती है। 

  4. राज्य जा विकास तथा प्रगति रुक जाती है। 

  5. प्रकृति का विनाश हो जाता है।

15. मान लो तुम भीष्म पितामह हो। अब महाभारत की कहानी अपने शब्दों में लिखो। जो घटनाये तुम्हें हर्रई न लगें, उन्हें तुम छोड़ सकते हो। 

उत्तर: कौरव और पांडव का बचपन साथ मे ही बीता था। शकुनि ने बचपन से ही दुर्योधन के मन मे पांडवों के प्रति द्वेष पैदा कर दिया था। दुर्योधन बने युधिष्ठिर से राज-पाट छिनने के लिए योजना बनाई तथा पांडवो को जुआ खेलने के लिए बुलाया। जुए में पांडव सब कुछ हार गए तथा उन्हें वनवास के लिए जाना पड़ा। धीरे-धीरे कौरवों तथा पांडवो में दूरियाँ बढ़ती गयी जिसके फलस्वरूप अंत मे उनके बीच युद्ध हुआ। अर्जुन अपने लोगों से युद्ध करने के लिए तैयार नहीं था, तब कृष्ण ने अर्जुन को सही-गलत का ज्ञान देते हुए उपदेश दिया। इन उपदेशों को गीता में संग्रहित किया गया। अंत मे युद्ध मे पांडवो की विजय हुई तथा युधिष्ठिर को राजा बनाया गया। महाभारत से हमें सही-गलत में समझ करने का ज्ञान प्राप्त होता है।

16. (क) द्रौपदी के पास एक ‛अक्षयपात्र’ था, जिसका भोजन समाप्त नहीं होता था। अगर तुम्हारे पास ऐसा ही पात्र हो, तो तुम क्या करोगे? 

उत्तर: यदि हमारे पास अक्षयपात्र होता तो हम उससे गरीबों और निर्धनों को भोजन उपलब्ध कराते।


(ख) यदि ऐसा कोई पात्र तुम्हारे स्थान पर तुम्हारे मित्र के पास हो, तो तुम क्या करोगे?

उत्तर: हम हमारे मित्र से उस अक्षयपात्र से गरीबों और निर्धनों को भोजन उपलब्ध कराने के लिए कहते।

17. नीचे लिखे वाक्यों को पढ़ो। सोचकर लिखो कि जिन शब्दों के नीचे रेखा खींची गई है, उनके अर्थ क्या हो सकते हैं? 


17.1 गंगा के चले जाने स शांतनु का मन विरक्त हो गया।

उत्तर: अब आना।


17.2 द्रोणाचार्य ने द्रुपद से कहा- “जब तुम राजा बन गए, तो ऐश्वर्य के मद में आकर तुम मुझे भूल गए।” 

उत्तर: घमंड


17.3 दुर्योधन ने धृतराष्ट्र से कहा- “ पिता जी, पुरवासी तरह-तरह की बातें करते हैं। 

उत्तर: नगरवासी


17.4 स्वंयम्बर मण्डप ने एक वृहदाकार धनुष रखा हुआ था। 

उत्तर: बड़े आकार का


17.5 चौसर का खेल कोई हमने तो इजाद किया नहीं

उत्तर: अविष्कार

18. लाख के भवन से बचने के लिए विदुर ने युधिष्ठिर को सांकेतिक भाषा मे सीख दी थी। आजकल गुप्त भाषा कहाँ-कहाँ होता होगा। तुम भी अपने दोस्तों जे साथ मिलकर अपनी गुप्त भाषा बन सकते हो। इस भाषा को केवल वही समझ सकेगा, जिसे तुम यह भाषा सिखाओगे। ऐसी ही एक भाषा बनाकर अपने दोस्तों को एक संदेश लिखो।

उत्तर: देश के सुरक्षा बलों द्वारा गुप्त भाषा का प्रयोग किया जाता है। कभी-कभी बच्चों द्वारा खेल में गुप्त भाषा का प्रयोग किया जाता है। हम ऐसी गुट भाषा लिखेंगे जिसे यदि बिना दर्पण के पढ़ा जाए वो वह समझ नही आएगी, परंतु दर्पण के सामने रखते ही सब समझ आ जाएगा।

19. महाभारत कथा में तुम्हें जो कोई प्रसंग बहुत अच्छा लगा हो, उसके बारे में लिखो। यह भी बताओ कि वह प्रसंग तुन्हें अच्छा क्यों लगा? 

उत्तर: महाभारत में युद्ध के दौरान इंद्र द्वारा कर्ण से कवच-कुंडल मांगने पर उन्होंने यह जानते भी हुए की इससे उनका स्वयं (कर्ण) का नुकसान होगा, कवच-कुंडल दान कर दिए। यह प्रसंग मुझे सबसे अच्छा लगा।

20. तुमने पुस्तक में पढ़ा कि महाभारत कथा कण्ठस्थ करके सुनाई जाती रही है। कण्ठस्थ कराने की क्रिया उस समय इतनी महत्वपूर्ण क्यों रही होगी? तुम्हारी समझ से आज के जमाने में कण्ठस्थ करने की आदत कितनी उचित है? 

उत्तर: उस समय प्रिंटिंग मशीनों, मोबाइल, कम्प्यूटरों आदि का आविष्कार नही हुआ था जिनमे सूचनाएं संग्रहित की जा सके इसलिए कण्ठस्थ करना बहुत आवश्यक था। परंतु आज कल हमारे पास सूचनाएं संग्रहित करने के अनेक साधन है इसलिए कण्ठस्थ करना इतना आवश्यक नहीं है, परन्तु जीवन मे काम आने वाली बातों को हमे कण्ठस्थ कर लेना चाहिए।

NCERT Solutions for Class 7 Hindi Chapter 1 Mahabharat Katha

The story of 'Bal Mahabharata' is a short form of the historic epic 'Mahabharata'. This story introduces our history to students in such a manner that they can learn and receive teachings from it. Vedantu provides the most important preparation resources like NCERT Solutions, sample papers, previous years solved papers, etc. online in PDF format. Students can easily access these resources from anywhere, anytime. It can be downloaded and utilised without the internet.


In this story of 'Bal Mahabharata', absolute information about the history, politics, public life and culture of India of that period is obtained. This story is about the war between the families of two brothers of the same dynasty. King Vichitravirya had two sons Dhritarashtra and Pandu. Dhritarashtra was the eldest son. However, being born blind, he was not a suitable heir for the post of the king. Therefore, he was succeeded by his younger brother Pandu. Raja Pandu left Rajpat for some reason and went to the forest with his two wives. At the same time, five of his sons were born and raised in the forest. Being Pandu, they were called Pandava.


The throne of Hastinapur could not be kept vacant. Thus, Bhishma Pitamah placed Dhritarashtra on the throne. The Pandavas returned to Hastinapur after the death of King Pandu. When they grew up, they asked for authority, however, Dhritarashtra's elder son Duryodhana refused to give it. He hatched many conspiracies to kill the Pandavas and eventually a situation of war was created. This story forces us to think about the topics of truth-untruth, religion-lawlessness, justice-injustice, etc. We get the knowledge of the 'Gita' of Krishna in the middle of this story. This is not just a story, it is a book of teachings.


Benefits of NCERT Solutions for Class 7 Hindi (Mahabharat) Chapter 1 Mahabharat Katha 

  • NCERT Solutions for Class 7 Hindi (Mahabharat) Chapter 1 Mahabharat Katha provides clear and easy-to-understand answers, making it simpler for students to understand the main events and characters in the chapter.

  • These solutions help students stay aligned with the CBSE syllabus, ensuring they cover all important topics and prepare effectively for exams.

  • They provide detailed explanations, helping students clear any doubts and build a strong understanding of the Mahabharat’s key messages.

  • With the solutions, students can review the chapter quickly before exams, which improves confidence in answering related questions.

  • The solutions also encourage independent learning, allowing students to practise and revise at their own pace.

  • By using these solutions, students can improve their ability to recall key points, helping them perform better in both exams and class discussions.


Important Study Material Links for Hindi (Mahabharat) Chapter 1 Class 7 - Mahabharat Katha

S.No.

Important Study Material Links for Chapter 1 Mahabharat Katha

1.

Class 7 Mahabharat Katha Important Questions

2.

Class 7 Mahabharat Katha Revision Notes



Conclusion

The NCERT Solutions for Class 7 Hindi (Mahabharat) Chapter 1 Mahabharat Katha provides students with a clear understanding of the chapter’s key events and characters. These solutions simplify the story of the Mahabharat, making it easier to understand important lessons on righteousness, loyalty, and justice. They help students effectively prepare for exams by offering detailed answers. With Vedantu’s solutions, students can confidently revise and practice, ensuring they are ready for both class discussions and exams. Download the FREE PDF to enhance learning and gain a deeper understanding of this timeless epic.


Important Related Links for NCERT Class 7 Hindi

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FAQs on NCERT Solutions for Class 7 Hindi (Mahabharat) Chapter 1: Mahabharat Katha

1. Are NCERT Solutions Enough for Preparing for Class 7 Hindi Exams?

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2. Which Website or Platform Should I Refer to for the Best NCERT Solutions?

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3. How is Bal Mahabharat different from Mahabharata in Class 7 Hindi (Mahabharat) Chapter 1?

The plot of 'Bal Mahabharata' is a condensed version of the epic 'Mahabharata.' This story introduces kids to our history in a way that allows them to learn the basics of Mahabharata. This account of the 'Bal Mahabharata' provides absolute knowledge of India's history, politics, public life, and culture at the time. This is a story of a family feud between two brothers from the same family. NCERT Solutions, sample papers, previous years' solved papers, and other vital preparation tools are available online in PDF format from Vedantu. These resources are available to students at any time and from any location. It can be downloaded and used without being connected to the internet.

4. Describe the beginning of Bal Mahabharata in Class 7 Hindi.

Dhritarashtra and Pandu were the two sons of King Vichitravirya. The eldest son was Dhritarashtra. He was not a fit heir for the throne because he was born blind. As a result, his younger brother Pandu took over as his successor. Raja Pandu and his two wives left the throne for some reason and went to the forest. Five of his sons were born and raised in the jungle at the same time. Pandava was their name since they were Pandu. The Hastinapur throne could not be left vacant. Dhritarashtra was crowned by Bhishma Pitamah. After King Pandu's death, the Pandavas returned to Hastinapur.

5. What is the main theme of NCERT Solutions for Class 7 Hindi (Mahabharat) Chapter 1 'Mahabharat Katha'?

The main theme of 'Mahabharat Katha' is the conflict between the Pandavas and Kauravas, which leads to the great battle of Kurukshetra. The chapter focuses on the lessons of dharma (righteousness), justice, and loyalty. Vedantu’s NCERT Solutions for this chapter helps students understand these important themes in simple language.

6. How will Vedantu help in learning chapter 1 in Class 7 Hindi (Mahabharat)?

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7. What all things will be covered in NCERT solutions by Vedantu?

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8. Who are the key characters introduced in NCERT Solutions for Class 7 Hindi (Mahabharat) Chapter 1 'Mahabharat Katha'? 

In this chapter, key characters like the Pandavas, Kauravas, Bhishma, and Drona are introduced. Each character’s role is explained, helping students understand their importance in the Mahabharat. Vedantu’s solutions guide students through these character details.

9. How do NCERT Solutions for Class 7 Hindi (Mahabharat) Chapter 1 help with exam preparation?

The solutions provide detailed answers to the chapter’s questions, making it easier for students to understand the story and key points. By using Vedantu’s NCERT Solutions, students can revise the chapter effectively and prepare well for their exams.

10. What key lesson can be learned from NCERT Solutions for Class 7 Hindi (Mahabharat) Chapter 1 'Mahabharat Katha'?

A key lesson from 'Mahabharat Katha' is the importance of standing up for what is right, as shown by the Pandavas. The chapter teaches the value of justice and fairness. Vedantu’s solutions explain this lesson in an easy-to-understand way for students.

11. How do Vedantu’s NCERT Solutions help in understanding Class 7 Hindi (Mahabharat) Chapter 1 'Mahabharat Katha'?

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12. What are the benefits of using NCERT Solutions for Class 7 Hindi (Mahabharat) Chapter 1 'Mahabharat Katha'?

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